Food Waste से ऑर्गेनिक खाद बनाकर लोग कर रहे हैं कमाई
कचरे से होता है शहर में करोड़ों का व्यापार, कमाई और सफाई दोनों काम
मैट्रो प्लस से नवीन गुप्ता की रिपोर्ट
फरीदाबाद, मई: करीब पांच वर्ष पहले मिडिलसेक्स यूनिवर्सिटी लंदन से आई.टी और बिजनेस इंफार्मेशन सिस्टम में इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी करने के बाद स्वदेश लौटे 28 वर्षीय सूर्य विक्रम सिंह ने जब भारत में जगह-जगह कचरे व गंदगी के ढेर देखे तो उनके मन में देश में फैले इस कचरे व गंदगी के निस्तारण के लिए कुछ करने का जज्बा उठा। इसी के चलते उन्होंने भारत को गंदगी मुक्त कर स्वच्छ भारत बनाने का बीड़ा उठाया। जिसके चलते एक सराहनीय कदम उठाते हुए कचरा निस्तारण के क्षेत्र में काम करना शुरू कर दिया। धीरे-धीरे उन्हें इस काम में बिजनेस भी नजर आने लगा। इसी के चलते उनके मन में कूड़ा-कचरा Re-Cycling मशीन बनाने का विचार आया और दिन-रात की मेहनत के बाद सूर्य विक्रम सिंह ने फरीदाबाद में कूड़े-कचरे और बचे हुए भोजन से ऑर्गेनिक खाद तैयार करने की मशीन बना डाली।
आज हालात यह हैं कि करीब पांच वर्ष पहले वेस्ट रि-साईकलिंग मशीन के क्षेत्र में कदम रखने वाले सूर्य विक्रम सिंह की फरीदाबाद बेसड कंपनी SMS Hydrotech आज देशभर के सरकारी तथा प्राईवेट सस्थानों के साथ-साथ विदेशों में भी इन मशीनों को कुशलतापूर्वक सप्लाई कर रही हैं।
मैट्रो प्लस संवाददाता ने Re-Cycling मशीन बनाने वाले सूर्य विक्रम सिंह से जब इस बारे में विस्तार से बात की तो उन्होंने अपनी मशीन के बारे में कई रोचक बात बताते हुए बताया कि वे फिलहाल फूड तथा ऑर्गेनिक वेस्ट से कम्पोस्ट खाद बनाने, गार्डन तथा एग्रीकल्चर वेस्ट से बायोमास Pallet या कम्पोस्ट बनाने, प्लास्टिक वेस्ट रि-साईकलिंग मशीन तथा पेपर वेस्ट रि-साईकलिंग वाली चार प्रकार की मशीनें बना रहे हैं। सूर्य विक्रम सिंह का कहना था कि उच्च गुणवता की ये सभी मशीनें पूर्णतया: स्वचालित हैं तथा उनकी ये टच स्क्रीन व सेंसरयुक्त मशीनें देशभर में अच्छी परफोरमेंस देकर इस क्षेत्र में अपना नाम कमा रही हैं। विक्रम सिंह के मुताबिक अब उनकी कंपनी का टर्नओवर अगले वित वर्ष में करीब 25 करोड़ तक पहुंचने की संभावना है।
एक साथ इतना ज्यादा टर्न ओवर पहुंचने के सवाल पर उनका कहना था कि जब से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देश में स्वच्छ भारत अभियान की मुहिम छेड़ी है और बॉलीवुड के सुपर स्टॉर अमिताभ बच्चन, सलमान खान व शाहरूख खान जैसे फिल्मी अभिनेता इस अभियान से जुड़े है, तब से लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता बहुत तेजी से फैली है और इन मशीनों की डिमांड बढ़ी है जिसका फायदा भी हमारी कंपनी को मिल रहा है। उन्होंने बताया कि पहली बार बंगलूरू की एक हाउसिंग सोसायटी में उन्होंने ऐसी मशीन लगाई थी। हालात यह हैं कि आज हमारी कंपनी की मशीनें पालम एयरफोर्स स्टेशन, सुब्रतो पार्क दिल्ली कैंट, डेल के गुरूग्राम कार्यालय, वर्धमान यूनिवर्सिटी कलकता, होटल मैनेजमेंट गुरूदासपुर, जम्मु के रमादा होटल, कंट्री इन रिसोर्ट्स, गोवा, बैंगलुरू के अलावा गोल्फ कोर्स ओमान दुबई में भी लगी हुई हैं। विक्रम के मुताबिक उनकी कंपनी अभी तक करीब 150 मशीनें बेच चुकी है।
कूड़े-कचरे और बचे हुए भोजन से आर्गेनिक खाद तैयार करने की मशीन की कार्य प्रणाली के बारे में जानकारी देते हुए सूर्य विक्रम सिंह ने बताया कि उनकी मशीन 24 घंटे में आर्गेनिक (जैविक) खाद तैयार कर देती है। किचन के खाद्वय पदार्थों की वेस्टेज से भी अब खाद बनाई जा सकती है। मशीन की कीमत के बारे में विक्रम ने बताया कि 5 टन की जैविक खाद बनाने वाली इस मशीन की कीमत करीब 40-45 लाख होती है। उनकी कंपनी 50 किलोग्राम से लेकर लेकर 10 टन तक की मशीनें बना रही है। चूंकि मशीन की कीमत उसकी Capacity के हिसाब से होती है, इसलिए अब लोगों की मांग पर हमारी कंपनी छोटी मशीनें भी बनाने जा रही है। ये मशीनें व्यापारिक प्रतिष्ठानों के अलावा घरों में भी लग सकें इसके लिए उनकी कंपनी अब 10 कि.ग्रा.तक के कचरे से भी आर्गेनिक खाद बनाने की मशीन बनाने की तैयारी कर रही है। विक्रम का कहना था कि इन छोटी मशीनों को बनाने के बाद उम्मीद है कि बाजार में इनकी मांग बढ़ेगी।
सूर्य विक्रम सिंह का कहना था कि इन मशीनों के बाजार में आ जाने के बाद जहां वेस्टेज खत्म होगी वहीं लोगों को आर्गेनिक खाद भी घर बैठे ही मिलेगी जिससे कि भूमि की उवर्रक शक्ति भी बढ़ेगी जोकि यूरिया के अत्यधिक उपयोग से खत्म सी हो चुकी है। विक्रम सिंह के मुताबिक होटलों, शादी समारोहों और घर में जो खाना बच जाता है उसे फेंकने से अच्छा है कि आप आर्गेनिक खाद बना लें। इससे कमाई भी होगी और सफाई भी होगी।
विक्रम का कहना था कि शुरूआती दौर में इस काम को शुरू करने में काफी कठिनाईयां पेश आई। शुरू में लोग इस आइडिया को सुनते जरूर थे, लेकिन मशीन खरीदने को तैयार नहीं होते थे। परंतु प्रधानमंत्री के स्वच्छ भारत अभियान की वजह से लोगों में अब सफाई के प्रति काफी जागरूकता आई है।
कंपनी की पृष्ठभूमि के बारे में सूर्य विक्रम सिंह ने बताया कि SMS Hydrotech कंपनी को रूड़की आईआईटी से पास आऊट उनके पिता एस.पी. सिंह ने फरीदाबाद में 1978 में स्थापित किया था जो हाईड्रोलिक तथा आटो पार्ट के व्यवसाय से जुड़े है। देश की कई MNC और नामी संस्थानों के साथ उनकी कंपनी सालों से व्यापार कर रही हैं। बकौल एस.पी. सिंह उनके इस व्यापार को अब उनके पुत्र सूर्य विक्रम सिंह संभालते हैं जो उनके व्यापार को नई ऊचाईयों पर ले जाने में प्रयासरत हैं।
कुल मिलाकर इसका मतलब यह है कि स्वच्छता अभियान को आगे बढ़ाने के साथ-साथ आप ये मशीनें लगाकर मोटी कमाई भी कर सकते हैं। ये मशीनें साफ-सफाई के साथ-साथ आपको जैविक खाद बेचकर रिटर्न भी दे सकती हैं।

For any Inquaries Contact:-
Mr. Surya Vikram Singh
SMS Hydrotech
M:-98116-11599




 

 

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